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दानिय्येल 3:6 - पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI)

जो व्यक्‍ति मूर्ति के सम्‍मुख गिर कर उसका सम्‍मान नहीं करेगा, वह उसी क्षण धधकती हुई अग्‍नि की भट्ठी में फेंक दिया जाएगा।’

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पवित्र बाइबल

यदि कोई व्यक्ति इस सोने की प्रतिमा को झुक कर प्रणाम नही करेगा और इसे नहीं पूजेगा तो उस व्यक्ति को तुरंत ही धधकती हुई भट्टी में फेंक दिया जायेगा।”

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Hindi Holy Bible

और जो कोई गिरकर दण्डवत न करेगा वह उसी घड़ी धधकते हुए भट्ठे के बीच में डाल दिया जाएगा।

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पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI)

जो कोई गिरकर दण्डवत् न करेगा वह उसी घड़ी धधकते हुए भट्ठे के बीच में डाल दिया जाएगा।”

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सरल हिन्दी बाइबल

जो कोई गिरकर आराधना नहीं करेगा, उसे तुरंत धधकती आग की भट्टी में झोंक दिया जाएगा.”

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इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019

और जो कोई गिरकर दण्डवत् न करेगा वह उसी घड़ी धधकते हुए भट्ठे के बीच में डाल दिया जाएगा।”

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दानिय्येल 3:6
20 क्रॉस रेफरेंस  

उन्‍होंने सदोम, गमोरा और घाटी के समस्‍त प्रदेश पर दृष्‍टि की और देखा कि धधकती भट्टी के सदृश धुआं भूमि से निकलकर ऊपर जा रहा है।


तू झुककर उनकी वन्‍दना न करना और न उनकी सेवा करना; क्‍योंकि मैं तुम्‍हारा प्रभु परमेश्‍वर, ईष्‍र्यालु ईश्‍वर हूं। जो मुझसे घृणा करते हैं, उनके अधर्म का दण्‍ड मैं तीसरी और चौथी पीढ़ी तक उनकी संतान को देता रहता हूं।


बची हुई लकड़ी से वह अपने देवता की मूर्ति बनाता है। वह उसके सम्‍मुख भूमि पर गिरकर उसकी वंदना करता है। वह मूर्ति से प्रार्थना करता है, और उससे यह कहता है, ‘तू ही मेरा ईश्‍वर है, मुझे बचा।’


यहूदा प्रदेश से बेबीलोन को निष्‍कासित लोगों में, यह घटना एक शाप बन जाएगी, और लोग एक-दूसरे को इन शब्‍दों में शाप देंगे: “जैसा बेबीलोन के राजा नबूकदनेस्‍सर ने अहाब और सिदकियाह को आग की भट्ठी में भूना था वैसे ही प्रभु तुझे भी करे।”


राजा नबूकदनेस्‍सर ने कसदी पंडितों को उत्तर दिया, ‘मेरा वचन अटल है! यदि तुम मेरा स्‍वप्‍न और उसका अर्थ मुझे नहीं बताओगे, तो तुम निश्‍चय जानो कि तुम्‍हारे शरीर के टुकड़े-टुकड़े कर दिए जाएंगे, और तुम्‍हारे घर खण्‍डहर बना दिए जाएंगे।


और जो व्यक्‍ति मूर्ति के सम्‍मुख गिरकर उसका सम्‍मान नहीं करेगा, वह धधकती हुई अग्‍नि की भट्ठी में फेंक दिया जाएगा।


अब यदि तुम नरसिंगे, बांसुरी, वीणा, सारंगी, सितार, शहनाई और अन्‍य सब प्रकार के वाद्यों का स्‍वर सुनकर मेरे द्वारा स्‍थापित मूर्ति के सम्‍मुख गिरकर उसका सम्‍मान करने को तैयार हो, तो ठीक है; तुम्‍हारा अनिष्‍ट न होगा। पर यदि तुम मूर्ति के प्रति सम्‍मान प्रकट नहीं करोगे, तो तुम अविलम्‍ब धधकती हुई अग्‍नि की भट्ठी में फेंक दिए जाओगे। तब मैं देखूंगा कि कौन-सा ईश्‍वर तुम्‍हें मेरे हाथ से बचाएगा?’


उन्‍होंने इन तीनों व्यक्‍तियों को उनके पायजामों, अंगरखों, पगड़ियों तथा अन्‍य वस्‍त्रों सहित बाँध दिया और उनको धधकती हुई अग्‍नि की भट्ठी में फेंक दिया।


अत: विश्‍व की भिन्न-भिन्न कौमों, राष्‍ट्रों और भाषाओं के लोगों ने ऐसा ही किया। उन्‍होंने जिस क्षण नरसिंगे, बांसुरी, वीणा, सारंगी, सितार, शहनाई तथा अन्‍य सब प्रकार के वाद्ययंत्रों का स्‍वर सुना, वे तत्‍काल राजा नबूकदनेस्‍सर द्वारा स्‍थापित स्‍वर्ण-मूर्ति के सम्‍मुख गिरे, और यों उन्‍होंने मूर्ति के प्रति सम्‍मान प्रकट किया।


क्‍योंकि परमेश्‍वर ने आपके पिता को महान बनाया था इसलिए विश्‍व की सब कौमें, राष्‍ट्र और भिन्न-भिन्न भाषाएं बोलनेवाले लोग उनके सम्‍मुख कांपते और डरते थे। आपके पिता जिसको चाहते उसका वध करवा देते और जिसको चाहते, उसको जीवित छोड़ देते थे। वह अपनी इच्‍छा के अनुसार जिस व्यक्‍ति को चाहते उसकी पदोन्नति कर देते, और जिसको चाहते उसको पद से नीचे उतार देते थे।


आपके राज्‍य के अध्‍यक्षों, हाकिमों, क्षत्रपों, मन्‍त्रियों और राज्‍यपालों ने एक मत से यह निर्णय लिया है कि महाराज को यह परामर्श दें कि आप यह आदेश और निषेधाज्ञा प्रसारित करें कि जो व्यक्‍ति तीस दिन की अवधि के दौरान आपके अतिरिक्‍त किसी देवता अथवा मनुष्‍य से विनती करेगा तो वह सिंहों की मांद में डाला जाएगा।


आग के कुण्‍ड में झोंक देंगे। वहाँ वे लोग रोएँगे और दाँत पीसते रहेंगे।


और उन्‍हें आग के कुण्‍ड में झोंक देंगे। वहाँ वे लोग रोएँगे और दाँत पीसते रहेंगे।


उनसे बोला, “यदि आप मेरे सम्‍मुख घुटने टेक कर मेरी आराधना करें, तो मैं आप को यह सब दे दूँगा!”


राजा ने तुरन्‍त जल्‍लाद को भेज कर योहन का सिर ले आने का आदेश दिया। वह गया। उस ने बन्‍दीगृह में उनका सिर काटा


जो लोग पशु या उसकी प्रतिमा की आराधना करते अथवा उसके नाम की छाप ग्रहण करते हैं, उनकी यन्‍त्रणा का धूआँ युग-युगों तक ऊपर उठता रहेगा और उन्‍हें रात-दिन कभी चैन नहीं मिलेगा।”


उसने अगाध गर्त्त का विवर खोला। इस पर विवर में से दूआँ निकला, जो बड़ी भट्टी के धूएँ-जैसा था और विवर के धूएँ से सूर्य और वायुमण्‍डल अन्‍धकारमय हो गया।