जकर्याह 14:8 - पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI) उस दिन जीवन का जल यरूशलेम से बाहर बहेगा: उसका आधा जल पूर्वी सागर की ओर और आधा जल पश्चिमी सागर की ओर बहेगा। जैसे वह शीत ऋतु में बहता है वैसे ही ग्रीष्म ऋतु में भी निरन्तर बहता रहेगा। पवित्र बाइबल उस समय, यरूशलेम से लगातार पानी बहेगा। वह धारा बट जाएंगी और एक भाग पूर्व को बहेगा और एक भाग पश्चिम को भूमध्य सागर तक जाएगा और यह पूरे वर्ष ग्रीष्म और शीत ऋतु दोनों में बहेगा Hindi Holy Bible उस समय यरूशलेम से बहता हुआ जल फूट निकलेगा उसकी एक शाखा पूरब के ताल और दूसरी पच्छिम के समुद्र की ओर बहेगी, और धूप के दिनों में और जाड़े के दिनों में भी बराबर बहती रहेंगी॥ पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI) उस दिन यरूशलेम से बहता हुआ जल फूट निकलेगा उसकी एक शाखा पूरब के ताल और दूसरी पश्चिम के समुद्र की ओर बहेगी, और धूप के दिनों में और जाड़े के दिनों में भी बराबर बहती रहेंगी। सरल हिन्दी बाइबल उस दिन जीवन का जल येरूशलेम से बह निकलेगा, इसमें का आधा पानी पूर्व से मृत सागर की ओर तथा आधा पानी पश्चिम से भूमध्य सागर की ओर बहेगा, और यह ग्रीष्मकाल और साथ ही साथ शीतकाल में भी बहता रहेगा. इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019 उस दिन यरूशलेम से जीवन का जल फूट निकलेगा उसकी एक शाखा पूरब के ताल और दूसरी पश्चिम के समुद्र की ओर बहेगी, और धूप के दिनों में और सर्दी के दिनों में भी बराबर बहती रहेंगी। (यहे. 47:1, प्रका. 22:1,17) |
गर्म रेतीली भूमि तालाब बन जाएगी, प्यासी धरती जल-स्रोतों में बदल जाएगी! जहां गीदड़ घूमते-फिरते हैं, वहां अब कांस और सरकंडे होंगे!
वे न भूखे रहेंगे, और न प्यासे; वे न गर्म रेत से पीड़ित होंगे, और न धूप में उन्हें कष्ट होगा; क्योंकि जिसने उन पर दया की है, और उन्हें छुड़ाया है, वही उनका मार्गदर्शन करेगा। वह उन्हें जल-स्रोतों के पास ले जाएगा।
प्रभु निरन्तर तेरा मार्गदर्शन करता रहेगा, और वह अभाव के दिनों में भी तुझे तृप्त करेगा। वह तेरी हड्डियों को मजबूत बनाएगा, और तू सिंचे हुए उद्यान के सदृश हरा-भरा होगा; तू उस झरने के समान होगा, जिसका जल कभी नहीं सूखता।
‘मैं उत्तर दिशा से आई हुई सेना को तुम्हारे पास से हटा दूंगा; उसे शुष्क और निर्जन प्रदेश में भगा दूंगा। उसके अग्र दस्ते को मृत सागर में, और पश्च दस्ते को भूमध्यसागर में डुबा दूंगा। उससे दुर्गन्ध और सड़ायंध उठेगी; क्योंकि मैं-प्रभु ने महाकार्य किए हैं।
‘उस दिन यह घटना घटेगी : पहाड़ों से अंगूर-रस चूएगा, पहाड़ियों पर दूध की नदियां बहेंगी, यहूदा प्रदेश की बरसाती नदियां जल से भर जाएंगी। प्रभु के भवन से एक झरना फूटेगा, जो शिट्टीम घाटी को सींचेगा।
वे आकर यह कहेंगे, ‘आओ, हम प्रभु के पर्वत पर चढ़ें, याकूब के परमेश्वर के भवन में जाएं, ताकि वह हमें अपने मार्ग की शिक्षा दे; और हम उसके पथ पर चलें।’ सियोन पर्वत से व्यवस्था प्रकट होगी, यरूशलेम से ही प्रभु का शब्द सुनाई देगा।
यरूशलेम नगर के पूर्व में जैतून पहाड़ है। प्रभु उस दिन उस पहाड़ पर खड़ा होगा। तब पूर्व से पश्चिम तक जैतून पहाड़ के दो टुकड़े हो जाएंगे और उनके मध्य एक विस्तृत घाटी हो जाएगी। पर्वत का आधा टुकड़ा उत्तर की ओर और दूसरा आधा टुकड़ा दक्षिण की ओर सरक जाएगा।
और उनके नाम पर यरूशलेम से ले कर सभी राष्ट्रों को पापक्षमा के लिए पश्चात्ताप का संदेश सुनाया जाएगा।
येशु ने उत्तर दिया, “यदि तुम परमेश्वर का वरदान पहचानती और यह जानती कि वह कौन है, जो तुम से कह रहा है, ‘मुझे पानी पिलाओ’, तो तुम उससे माँगती और वह तुम्हें संजीवन जल देता।”
किन्तु जो मेरा दिया हुआ जल पीता है, उसे फिर कभी प्यास नहीं लगेगी। जो जल मैं उसे प्रदान करूँगा, वह उस में जल-स्रोत बन जाएगा, जो शाश्वत जीवन तक उमड़ता रहेगा।”
क्योंकि प्रभु का दूत समय-समय पर कुण्ड में उतर कर पानी को हिला देता था। पानी के हिलने के बाद जो व्यक्ति सब से पहले कुण्ड में उतरता था− चाहे वह किसी भी रोग से पीड़ित क्यों न हो, स्वस्थ हो जाता था।]
जो मुझ में विश्वास करता है, वह अपनी प्यास बुझाए। जैसा कि धर्मग्रन्थ का कथन है : ‘उसके अन्तस्तल से संजीवन-जल की नदियाँ बह निकलेंगी।’ ”
आत्मा तथा वधू, दोनों कहते हैं, “आइए।” जो सुनता है, वह उत्तर दे, “आइए।” जो प्यासा है, वह आये। जो चाहता है, वह उपहार में संजीवन जल ग्रहण करे।