“ढोंगी शास्त्रियो और फरीसियो! धिक्कार है तुम्हें! तुम एक मनुष्य को अपने सम्प्रदाय में लाने के लिए जमीन-आसमान एक कर देते हो; परन्तु जब वह तुम्हारे सम्प्रदाय में आ जाता है, तो उसे अपने से दुगुना नारकीय बना देते हो।
गलातियों 4:17 - पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI) जो लोग आपकी कृपा प्राप्त करने में लगे हुए हैं, वे अच्छे उद्देश्य से ऐसा नहीं कर रहे हैं। वे आप को मुझ से अलग करना चाहते हैं, जिससे आप उन्हें सिर-आँखों पर रखें। पवित्र बाइबल तुम्हें व्यवस्था के विधान पर चलाना चाहने वाले तुममें बड़ी गहरी रुचि लेते हैं। किन्तु उनका उद्देश्य अच्छा नहीं है। वे तुम्हें मुझ से अलग करना चाहते हैं। ताकि तुम भी उनमें गहरी रुचि ले सको। Hindi Holy Bible वे तुम्हें मित्र बनाना तो चाहते हैं, पर भली मनसा से नहीं; वरन तुम्हें अलग करना चाहते हैं, कि तुम उन्हीं को मित्र बना लो। पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI) वे तुम्हें मित्र बनाना तो चाहते हैं, पर भले उद्देश्य से नहीं; वरन् तुम्हें अलग करना चाहते हैं कि तुम उन्हीं को मित्र बना लो। नवीन हिंदी बाइबल वे तुम्हारे प्रति उत्सुक हैं, पर अच्छे उद्देश्य से नहीं, बल्कि वे तुम्हें अलग करना चाहते हैं ताकि तुम उनके प्रति उत्सुक रहो। सरल हिन्दी बाइबल वे तुम्हें अपने पक्ष में करने को उत्सुक हैं, किंतु किसी भले मतलब से नहीं; उनका मतलब तो तुम्हें मुझसे अलग करना है कि तुम उनके शिष्य बन जाओ. इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019 वे तुम्हें मित्र बनाना तो चाहते हैं, पर भली मनसा से नहीं; वरन् तुम्हें मुझसे अलग करना चाहते हैं, कि तुम उन्हीं के साथ हो जाओ। |
“ढोंगी शास्त्रियो और फरीसियो! धिक्कार है तुम्हें! तुम एक मनुष्य को अपने सम्प्रदाय में लाने के लिए जमीन-आसमान एक कर देते हो; परन्तु जब वह तुम्हारे सम्प्रदाय में आ जाता है, तो उसे अपने से दुगुना नारकीय बना देते हो।
मैं उनके विषय में यह साक्षी दे सकता हूँ कि उन में परमेश्वर के प्रति उत्साह है, किन्तु यह उत्साह विवेकपूर्ण नहीं है।
वे हमारे प्रभु मसीह की सेवा नहीं, बल्कि अपने पेट की पूजा करते हैं। वे चिकनी-चुपड़ी और खुशामद-भरी बातों से भोले-भाले लोगों को भुलावे में डालते हैं।
आप मेरी हर बात का ध्यान रखते हैं और जो परम्पराएँ मैंने आपको सौंपी हैं, उन में दृढ़ बने रहते हैं। इसके लिए मैं आप लोगों की प्रशंसा करता हूँ।
किन्तु कुछ व्यक्ति यह समझ कर घमण्ड से फूले नहीं समा रहे हैं कि मैं आप के यहाँ नहीं आऊंगा।
लगता है कि अभी से आप लोग तृप्त हो गये हैं। आप धनी हो गये हैं। आप को हमारे बिना राज्य मिल चुका है। कितना अच्छा होता यदि आप को सचमुच राज्य मिला होता। तब हम भी शायद आपके राज्य के सहभागी बन जाते!
मुझे डर है कि जिस प्रकार सांप ने अपनी धूर्तता से हव्वा को धोखा दिया था, उसी प्रकार आप लोगों का मन भी न बहका दिया जाए और आप मसीह के प्रति अपनी निष्कपट और सच्ची भक्ति न खो बैठें;
यह अच्छी बात है कि लोग आपकी कृपा चाहते हैं; परन्तु यह अच्छे उद्देश्य से हो और सदा रहे, केवल उस समय तक नहीं जब तक मैं आपके बीच विद्यमान हूं।
जो लोग अभी-अभी भ्रान्ति का जीवन बिताने वालों से अलग हुए हैं, वे उन्हें व्यर्थ शब्दाडम्बर और शरीर की घृणित वासनाओं द्वारा लुभाते हैं।
वे लोभ के कारण अपनी मनगढ़न्त बातों द्वारा आप से अनुचित लाभ उठायेंगे। उनकी दण्डाज्ञा का निर्णय बहुत पहले हो चुका है और वह उनका पीछा कर रहा है। उनका विनाश सोया हुआ नहीं है!