यिज्रएल निवासी नाबोत के पास अंगूर का एक उद्यान था। यह उद्यान सामरी नगर के राजा अहाब के उस महल के समीप था, जो यिज्रएल नगर में था।
1 राजाओं 21:16 - पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI) जब अहाब ने सुना कि नाबोत मर गया, तब वह पलंग से उठा। वह नाबोत के अंगूर-उद्यान पर कब्जा करने के लिए गया। पवित्र बाइबल अत: अहाब अंगूरों के बाग में गया और उसे अपना बना लिया। Hindi Holy Bible यिज्रेली नाबोत की मृत्यु का समाचार पाते ही अहाब उसकी दाख की बारी अपने अधिकार में लेने के लिये वहां जाने को उठ खड़ा हुआ। पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI) यिज्रेली नाबोत की मृत्यु का समाचार पाते ही अहाब उसकी दाख की बारी अपने अधिकार में लेने के लिये वहाँ जाने को उठ खड़ा हुआ। सरल हिन्दी बाइबल जैसे ही अहाब ने यह सुना कि नाबोथ की मृत्यु हो चुकी है, अहाब उठकर येज़्रीलवासी नाबोथ की दाख की बारी की ओर चल पड़ा, कि उस पर अधिकार कर ले. इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019 यिज्रेली नाबोत की मृत्यु का समाचार पाते ही अहाब उसकी दाख की बारी अपने अधिकार में लेने के लिये वहाँ जाने को उठ खड़ा हुआ। |
यिज्रएल निवासी नाबोत के पास अंगूर का एक उद्यान था। यह उद्यान सामरी नगर के राजा अहाब के उस महल के समीप था, जो यिज्रएल नगर में था।
जब ईजेबेल ने सुना कि नाबोत पर पथराव किया गया और वह मर गया, तब उसने अहाब से कहा, ‘उठिए, यिज्रएल-निवासी नाबोत के अंगूर-उद्यान पर अधिकार कीजिए। इस उद्यान को उसने चांदी के सिक्के के बदले में आपको देने से इनकार किया था। अब नाबोत जीवित नहीं है, वह मर गया।’
गेहजी पहाड़ी पर पहुंचा। उसने सेवकों के हाथ से बोरे और वस्त्र ले लिए, और उनको अपने घर में रख दिया। उसके बाद उसने सेवकों को भेज दिया। सेवक चले गए।
यहोराम ने आदेश दिया, ‘मेरा रथ जोतो।’ उसके सेवकों ने उसका रथ जोता। अत: इस्राएल प्रदेश का राजा यहोराम, और यहूदा प्रदेश का राजा अहज्याह अपने-अपने रथ पर सवार हुए। वे येहू से मिलने के लिए गए। वे येहू से यिज्रएल-वासी नाबोत की पैतृक भूमि पर मिले।
वह व्यक्ति जिसका आचरण धर्ममय है, जो हृदय से सीधी-सच्ची बातें बोलता है, जो शोषण से घृणा करता है, जो घूस से अपना हाथ सिकोड़ लेता है, जो हिंसा की बातें सुनने से, अपने कान बन्द कर लेता है, जो बुराई को देखने से अपनी आंखें बन्द कर लेता है।
वे परमेश्वर का यह निर्णय जानते हैं कि ऐसे कुकर्म करने वालों का उचित दण्ड मृत्यु है। फिर भी वे न केवल स्वयं ये ही कार्य करते हैं, बल्कि ऐसे कुकर्म करने वालों की प्रशंसा भी करते हैं।
सन्मार्ग छोड़ कर बोसोर के पुत्र बिलआम के मार्ग पर भटक गयी है। बिलआम अधर्म की मजदूरी चाहता था,