तब परमेश्वर ने वह सब देखा जो कुछ उसने बनाया था; और देखो, वह बहुत अच्छा था। तब साँझ हुई और फिर भोर हुआ। यह छठवाँ दिन था।
उत्पत्ति 2:3 - नवीन हिंदी बाइबल परमेश्वर ने सातवें दिन को आशिष दी और उसे पवित्र ठहराया; क्योंकि उस दिन उसने सृष्टि की रचना के अपने सारे कार्य से विश्राम किया था। पवित्र बाइबल परमेश्वर ने सातवें दिन को आशीषित किया और उसे पवित्र दिन बना दिया। परमेश्वर ने उस दिन को पवित्र दिन इसलिए बनाया कि संसार को बनाते समय जो काम वह कर रहा था उन सभी कार्यों से उसने उस दिन विश्राम किया। Hindi Holy Bible और परमेश्वर ने सातवें दिन को आशीष दी और पवित्र ठहराया; क्योंकि उस में उसने अपनी सृष्टि की रचना के सारे काम से विश्राम लिया। पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI) अत: परमेश्वर ने सातवें दिन को आशिष दी, और उसे पवित्र किया; क्योंकि परमेश्वर ने उस दिन सृष्टि के समस्त कार्यों से विश्राम किया था। पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI) और परमेश्वर ने सातवें दिन को आशीष दी और पवित्र ठहराया; क्योंकि उसमें उसने सृष्टि की रचना के अपने सारे काम से विश्राम लिया। सरल हिन्दी बाइबल परमेश्वर ने सातवें दिन को आशीष दी तथा उसे पवित्र ठहराया, क्योंकि यह वह दिन था, जब उन्होंने अपनी रचना, जिसकी उन्होंने सृष्टि की थी, पूरी करके विश्राम किया. इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019 और परमेश्वर ने सातवें दिन को आशीष दी और पवित्र ठहराया; क्योंकि उसमें उसने सृष्टि की रचना के अपने सारे काम से विश्राम लिया। |
तब परमेश्वर ने वह सब देखा जो कुछ उसने बनाया था; और देखो, वह बहुत अच्छा था। तब साँझ हुई और फिर भोर हुआ। यह छठवाँ दिन था।
सातवें दिन परमेश्वर ने अपने कार्य को जिसे वह कर रहा था, पूरा किया। उसने अपने किए हुए सारे कार्य से सातवें दिन विश्राम किया।
आकाश और पृथ्वी के सृजे जाने का अर्थात् जिस दिन यहोवा परमेश्वर ने पृथ्वी और आकाश को बनाया, उसका विवरण यह है :
“छः दिन तक तू अपना काम-काज करना, और सातवें दिन विश्राम करना ताकि तेरे बैलों और गधों को भी आराम मिले, और तेरी दासियों के बेटे और परदेशी भी तरो-ताज़ा हो सकें।
“छः दिन तू परिश्रम करना, परंतु सातवें दिन विश्राम करना; बल्कि हल जोतने और कटनी के समय भी विश्राम करना।
छः दिन काम-काज किया जाए, परंतु सातवाँ दिन परमविश्राम का और पवित्र सभा का दिन है। तुम उसमें कोई काम-काज न करना। वह तुम्हारे सब घरों में यहोवा के लिए विश्रामदिन होगा।
तब उन्होंने लौटकर सुगंधित मसाले और इत्र तैयार किए। फिर सब्त के दिन उन्होंने आज्ञा के अनुसार विश्राम किया।