2 तीमुथियुस 2:3 - नवीन हिंदी बाइबल मसीह यीशु के अच्छे सिपाही के समान मेरे साथ दुःख उठा। पवित्र बाइबल यातनाएँ झेलने में मसीह यीशु के एक उत्तम सैनिक के समान मेरे साथ आ मिल। Hindi Holy Bible मसीह यीशु के अच्छे योद्धा की नाईं मेरे साथ दुख उठा। पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI) येशु मसीह के उत्तम सैनिक की तरह तुम उनके साथ कष्ट सहते जाओ। पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI) मसीह यीशु के अच्छे योद्धा के समान मेरे साथ दु:ख उठा। सरल हिन्दी बाइबल मसीह येशु के अच्छे योद्धा की तरह मेरे साथ दुःखों का सामना करो. इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019 मसीह यीशु के अच्छे योद्धा के समान मेरे साथ दुःख उठा। |
वह सब बातों को सहता है, सब बातों का विश्वास करता है, सब बातों की आशा रखता है, सब बातों में धीरज धरता है।
कौन है जो अपने ही खर्च पर सेना में सेवा करता है? कौन है जो अंगूर का बगीचा लगाकर उसका फल नहीं खाता? या कौन है जो भेड़-बकरियों की रखवाली करके उनका दूध नहीं पीता?
यदि हम क्लेश सहते हैं, तो यह तुम्हारी शांति और उद्धार के लिए है; यदि हमें शांति मिलती है तो यह तुम्हारी शांति के लिए है, जिससे तुममें उन दुःखों को सहने का धीरज उत्पन्न हो जिन्हें हम भी सहते हैं।
हे मेरे पुत्र तीमुथियुस, उन भविष्यवाणियों के अनुसार जो पहले से तेरे विषय में की गई थीं, मैं तुझे यह आज्ञा सौंपता हूँ कि तू उनके द्वारा अच्छी लड़ाई लड़ता रह,
पौलुस की ओर से, जो मसीह यीशु में निहित जीवन की प्रतिज्ञा के अनुसार परमेश्वर की इच्छा से मसीह यीशु का प्रेरित है,
इसलिए तू हमारे प्रभु की साक्षी देने में और मुझसे जो उसका बंदी हूँ, लज्जित न हो, बल्कि परमेश्वर के सामर्थ्य के अनुसार सुसमाचार के लिए मेरे साथ दुःख उठा।
इसलिए मैं चुने हुओं के कारण सब कुछ सह लेता हूँ कि वे भी उस उद्धार को, जो मसीह यीशु में है, अनंत महिमा के साथ प्राप्त करें।
और जिसके लिए मैं दुःख उठाता हूँ, यहाँ तक कि अपराधी के समान बंधनों में भी हूँ; परंतु परमेश्वर का वचन किसी बंधन में नहीं है।
तथा उन सतावों और दुःखों में मेरा साथ दिया, जो अंताकिया, इकुनियुम और लुस्त्रा में मुझ पर पड़े। मैंने कैसे-कैसे सताव सहे, परंतु प्रभु ने मुझे उन सब से बचाया।
परंतु तू सब बातों में संयमी रह, दुःख उठा, सुसमाचार प्रचार का कार्य कर और अपनी सेवा पूरी कर।
परंतु उन बीते हुए दिनों को स्मरण करो, जिनमें तुम ज्योति प्राप्त करने के बाद कष्टों के बड़े संघर्ष में भी स्थिर रहे;
विश्वास ही से उसने मिस्र को छोड़ दिया और राजा के क्रोध से नहीं डरा, क्योंकि उस अदृश्य को मानो देखते हुए वह दृढ़ रहा।
धन्य है वह मनुष्य जो परीक्षा में धीरज धरता है क्योंकि वह खरा उतरकर जीवन का वह मुकुट पाएगा जिसकी प्रतिज्ञा प्रभु ने अपने प्रेम रखनेवालों से की है।