अपना हाथ बढ़ाकर हे यहोवा, मुझे मनुष्यों से बचा, अर्थात् सांसारिक मनुष्यों से जिनका भाग इसी जीवन में है, और जिनका पेट तू अपने भण्डार से भरता है। वे बाल-बच्चों से सन्तुष्ट हैं; और शेष सम्पत्ति अपने बच्चों के लिये छोड़ जाते हैं।
गिनती 11:5 - इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019 हमें वे मछलियाँ स्मरण हैं जो हम मिस्र में सेंत-मेंत खाया करते थे, और वे खीरे, और खरबूजे, और गन्दने, और प्याज, और लहसुन भी; पवित्र बाइबल हम लोग मिस्र में खायी गई मछलियों को याद करते हैं। उन मछलियों का कोई मुल्य नहीं देना पड़ता था। हम लोगों के पास बहुत सी सब्जियाँ थीं जैसे ककड़ियाँ, खरबूजे, गन्ने, पयाज और लहसुन। Hindi Holy Bible हमें वे मछलियां स्मरण हैं जो हम मिस्र में सेंतमेंत खाया करते थे, और वे खीरे, और खरबूजे, और गन्दने, और प्याज, और लहसुन भी; पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI) हमें वे मछलियां याद हैं जो मिस्र देश में हम मुफ्त खाया करते थे। हमें खीरे, खरबूजे, गन्दने, प्याज और लहसून भी याद हैं। पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI) हमें वे मछलियाँ स्मरण हैं जो हम मिस्र में सेंतमेंत खाया करते थे, और वे खीरे, और खरबूजे, और गन्दने, और प्याज, और लहसुन भी; सरल हिन्दी बाइबल मिस्र देश में तो हमें बहुतायत से खाने के लिए मुफ़्त में मछलियां मिल जाती थीं. हमें वहां के खीरे, खरबूजे, कंद, प्याज तथा लहसुन स्मरण आ रहे हैं. |
अपना हाथ बढ़ाकर हे यहोवा, मुझे मनुष्यों से बचा, अर्थात् सांसारिक मनुष्यों से जिनका भाग इसी जीवन में है, और जिनका पेट तू अपने भण्डार से भरता है। वे बाल-बच्चों से सन्तुष्ट हैं; और शेष सम्पत्ति अपने बच्चों के लिये छोड़ जाते हैं।
और इस्राएली उनसे कहने लगे, “जब हम मिस्र देश में माँस की हाँड़ियों के पास बैठकर मनमाना भोजन खाते थे, तब यदि हम यहोवा के हाथ से मार डाले भी जाते तो उत्तम वही था; पर तुम हमको इस जंगल में इसलिए निकाल ले आए हो कि इस सारे समाज को भूखा मार डालो।”
और सिय्योन की बेटी दाख की बारी में की झोपड़ी के समान छोड़ दी गई है, या ककड़ी के खेत में के मचान या घिरे हुए नगर के समान अकेली खड़ी है।
क्योंकि वहाँ न हम युद्ध देखेंगे, न नरसिंगे का शब्द सुनेंगे और न हमको भोजन की घटी होगी, तो, हे बचे हुए यहूदियों, यहोवा का यह वचन सुनो।
परन्तु जब से हमने स्वर्ग की रानी के लिये धूप जलाना और तपावन देना छोड़ दिया, तब से हमको सब वस्तुओं की घटी है; और हम तलवार और अकाल के द्वारा मिट चले हैं।”
और सब इस्राएली मूसा और हारून पर बुड़बुड़ाने लगे; और सारी मण्डली उससे कहने लगी, “भला होता कि हम मिस्र ही में मर जाते! या इस जंगल ही में मर जाते! (1 कुरि. 10:10)
उनका अन्त विनाश है, उनका ईश्वर पेट है, वे अपनी लज्जा की बातों पर घमण्ड करते हैं, और पृथ्वी की वस्तुओं पर मन लगाए रहते हैं।