मुकाशफ़ा 4:3 - उर्दू हमअस्र तरजुमा3 वह तख़्त-नशीन देखने में संग-ए-यशब और अक़ीक़ की तरह नज़र आ रहा था और उस तख़्त-ए-इलाही के इर्दगिर्द ज़मर्रुद की मानिन्द एक चमकदार क़ौसे-क़ुज़ह थी। Faic an caibideilइंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) उर्दू - 20193 और जो उस पर बैठा है वो संग — ए — यशब और 'अक़ीक़ सा मा'लूम होती है, और उस तख़्त के गिर्द ज़मर्रुद की सी एक धनुक मा'लूम होता है। Faic an caibideilकिताब-ए मुक़द्दस3 और बैठनेवाला देखने में यशब और अक़ीक़ से मुताबिक़त रखता था। तख़्त के इर्दगिर्द क़ौसे-क़ुज़ह थी जो देखने में ज़ुमुर्रद की मानिंद थी। Faic an caibideil |