मुकाशफ़ा 4:1 - उर्दू हमअस्र तरजुमा1 इस के बाद मैंने देखा के आसमान में एक दरवाज़ा खुला हुआ है। तब वोही नरसिंगे की आवाज़ जो मैंने पहले सुनी थी, मुझ से मुख़ातिब होकर, फ़रमाया, यहां ऊपर आ जा, मैं तुझे उन बातों को दिखाऊंगा जो इन बातों के बाद और ज़रूर होने वाली हैं। Faic an caibideilइंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) उर्दू - 20191 इन बातों के बाद जो मैंने निगाह की तो क्या देखता हूँ कि आसमान में एक दरवाज़ा खुला हुआ है, और जिसको मैंने पहले नरसिंगो की सी आवाज़ से अपने साथ बातें करते सुना था, वही फ़रमाता है, “यहाँ ऊपर आ जा; मैं तुझे वो बातें दिखाऊँगा, जिनका इन बातों के बाद होना ज़रूर है।” Faic an caibideilकिताब-ए मुक़द्दस1 इसके बाद मैंने देखा कि आसमान में एक दरवाज़ा खुला हुआ है और तुरम की-सी आवाज़ ने जो मैंने पहले सुनी थी कहा, “इधर ऊपर आ। फिर मैं तुझे वह कुछ दिखाऊँगा जिसे इसके बाद पेश आना है।” Faic an caibideil |