रोमियो 13:5 - बाघली सराज़ी नऊंअ बधान5 तम्हैं निं डरा हेठै सिधै एते तैणीं रही कि सज़ा का बच़े पर थारी सोर-समझ़ बी शुची रहे। Faic an caibideilकुल्वी5 तैबै तुसाबै न सिर्फ़ सज़ा न बच़णै री तैंईंयैं, बल्कि एक स्पष्ट विचार रखणै री तैंईंयैं बी तुसाबै तिन्हरै अधीन रौहणा चेहिऐ। Faic an caibideilईनर सराजी मे नया नियम5 एतकी तणी अधीन रहे ना सीधी तेऊ रोषा का पर डरा का जरूर रहे पर अन्तरात्मा भी यहे गबाही दीन्दा। Faic an caibideil |