प्रकाशितवाक्य 18:22 - बाघली सराज़ी नऊंअ बधान22 “‘बींन बाज़णैं आल़ै, घैरी, बशूरी बाज़णैं आल़ै और नाद बाज़णैं आल़े छ़ेल़ निं ताखा भी कधि शुहणनी। “‘नां कधि ताह कोई बी च़िज़ा बणांणैं आल़अ और कारीगीर भेटणअ, “‘घरटा फिरनें छ़ेल़ बी निं ताखा कधि शुहणनी। (याशायाह 24:8; यजकेल 26:13) Faic an caibideilकुल्वी22 होर वीणा बज़ाणु आल़ै, गायक, होर बैंउँसरी बज़ाणु आल़ै, होर तुरही फुकरनू आल़ै रा शब्द तौ न कैधी भी नी शुणिना, होर व्यापारी रा कोई कारीगीर भी फिरी कैधी तौ न नी मिलणा, होर च़की च़लणै री छ़ेड़ फिरी कैधी तौ न नी शुणिना। Faic an caibideilईनर सराजी मे नया नियम22 वीणा बजाऊण आले, होर गाणे बोलण आलअ होर बशुरी बजाउण आलअ होर तुहरी बजाऊण आले री आवाज़ कधी भी नांई शूणनी, होर कासी भी फैक्ट्री रअ कारीगीर कधी भी नांई भेटण; होर घरटा रे चलने री छेड़ कधी भी नांई ताहा शूणनी; Faic an caibideil |