अबा मुरत गीनको पुड़ा चघायो हुयो बली को बारेमा, आमी जाना सेजन, अना आमी सक्ड़िया मानूस ला यो मालूम सेत। पर पिरेम लक सबको उन्नती होवासेत, पर गियान गरब ला पैदा करा सेत।
एकोलाय का मी दरसन को लगत गोस्टी मा कही गरब लक फूल ना जाऊ, एकोलाय मोरो देह मा एक काटा गडायो जावासेत, मजे सैतान को एक दुत मोला मुक्का मारहेत, जोन लक मी घमंड नही करू।
त उ गरबिला भय गईसे अना काही नही जाना वरन वोला झगड़ा अना गोस्टी मा मीन-मेख करन की बीमारी से जेनको लक डाह अना झगड़ा अखिन निन्दा-बदी की गोस्टी गीन अखिन बुरो-बुरो खबर।
अना तुमी जवान हुन, तुम्ही आयको बुजरुग को अधीन रव्हो, परंतु आपरो सब च जन एकमेक को सेवा करन लाय साठी नरम रव्हो एकोलाय का “परमेस्वर गरब करनवालो को विरोध करतत, पर गरिबांना मदत करतत।”
मंग जेना सरगदूत गीन ना आपरो पद ला संभाल नही सकिन अना खुद को रव्हन को जघा ला तज देईन, ओना उनला ओना मुसीबत को दिवस को नियाव को लाई इंधारो मा जोन अमर बेरा को लाई से, बंधन मा राखीसेस।