6 ओको बाद कई नेम का गुरू सासतिरी जे वहाँ बठिया हता, अपनो-अपनो मन म विचार करन लग गया,
6 तेबे कितलो शास्तरी जोन हुता बोसु रवत, आपलो-आपलो मन ने बीचार करूक मुरयाला,
प्रभु यीसु न उनको भरोसा देख ख उ लकवा को बीमार से कय्हो, “पोरिया, तोरा पाप माप हो गया।”
“यु अदमी असो काहे ख बोल्यो? यु तो परमेस्वर की बेज्जती करा हैं! परमेस्वर को अलावा अऊर कोन पाप माप कर सका हैं?”
यू जान ख प्रभु यीसु न उन ख कय्हो, “तुम काहे आपस म विचार करा हैं, की हमारो जोने रोटी नी हाय? का अब तक नी जाना अर नी समझा? का तुमरो मन कठोर हो गयो हैं,
एकोलाने हम विचार हुन म अऊर हर एक ऊँची बात ख, जो परमेस्वर की पहिचान को विरोध म उठ हैं, खण्डन हो कर हैं; अऊर हर एक भावना ख बन्द कर ख मसी को बात ख मानन वालो बना देव हैं,