जो परमेस्वर को पोरिया पर विस्वास करिये हैं उ अपनो मन म गवाई रख हैं। जे न परमेस्वर पर विस्वास नी कियो ओ न ओ ख झूटो ठहर हैं, काहे कि ओ न ओ से गवाई पर विस्वास नी कियो जो परमेस्वर न अपनो पोरिया को बारा म दियो हैं।
पर यघ्घपी तू पुरी बात एक बार जान चुको हो, तेभी मी तो ख या बात कि सुधि दिलानो चाहूँ हैं कि प्रभु न एक कुल को मिसर देस से छुड़ानो को बाद भरोसा न लान वाला ख खत्म कर दियो।