“हे ढोंगहा गुरू अउ फरीसी तुमही लानत हबै, तुम मनसेन के निता स्वरग राज कर दूरा के बन्द करथा, न खुद ओहमा घुसथा अउ न उनही जाय देथा, जउन जाय के निता परयास करथै।”
पय ऊ जउन धनड्ड बनै चाहथै, ऊ लालच हे पड के परिक्छा हे फस जथै, अउ उनके असना मूरख अउ बिनासकारी इक्छा घेर लेथै, जउन मनसे के पतन अउ बिनास के समुन्दर हे बुडोय देथै।
हे प्रिजन भाई अउ बेहन, मै तुमही पहिले लग चेतन्त करे हबै, तुम सावधान रहा। कहुं असना झइ होय कि तुम उन दुस्टन के बहकाव हे आय के अउ अपन बिस्वास लग डगमगाय के गिर जा।
काखे हमर मसे कुछ मनसे चुपके लग घुस आथै, हइ मनसेन के नियाव के बारे हे किताब हे बोहत पहिले आगू कर बात गुठे दय रहै, हइ मनसे भगवान बिहीन हबै। हइ मनसे भगवान के अनुगरह किरपा के बिलास के अक्ठी बहाना बना डारे हबै अउ हइ हमर परभु अक्ठी गुरू यीसु मसीह के नेहको मानथै।