का तुम नेहको समझथा कि तुम अपन आदेस के मानै बाले हरवाह के रूप हे जेखर परति अरपित करथै अउ जेखर आदेस के पालन करथै, तुम उहै के गुलाम बन जथा? हइ गुलाम चाहे पाप के होय, जेखर परिनाम मिरतू हबै, चाहे भगवान के होय, जेखर आदेस मानै के परिनाम नियाइपन हबै।
अउ उहै किताब लग हम मनसेन के तरकन के अउ ऊ हर बाधा के, जउन भगवान के ग्यान के बिरोध ठाढ हबै, उके टोरथन, अउ हर अक्ठी भावना के कबजा करके मसीह के आदेस मानै बाले बना देथै।
बिस्वास के कारन अब्राहम भगवान के आदेस के स्वीकार करथै कि अब्राहम ऊ देस छो जाय, जेही ऊ फिरी हे पामै बाले रथै, अब्राहम नेहको सोचिस कि मै कछो जथो तउभरमा ऊ कढ जथै।
काखे नियाव के टेम सुरू हुइ गय हबै अउ हइ खुद भगवान के मानै बालेन लग सुरू होही, अउ अगर हइ सबले पहिले हमर लग सुरू होथै, ता उनखर आखरी का होही, जउन भगवान के संदेस हे बिस्वास नेहको करथै?
इहै मेर मै तुमही हइ सुरता दिलामै चाहथो, कि सदोम अउ अमोरा अउ ओखर अगल-बगल के सहर हे हइ दूतन के जसना गलत काम हे फस गय रहै, अउ पराय देह के पाछू दउडत रहन, उनही अनन्त काल तक नेहको बुझै बाले आगी हे झपोय जाय के निता सजा दय गइस, ऊ हमर निता उदाहरन के रूप हे ठहरे हबै।
तब उनके बहकामै बाले भुतवा के आगी अउ धंधकत कुन्ड हे डाल दय जही, जिहां गोरू अउ ठगरा ग्यानी मनसेन के डाले गय रथै, उन रात दिन पीरा हे हरमेसा तक तडपत रइहीं।
उन बोहत आरो लग हइ कहत सुनो कि “हे पवितर अउ सत्य परभु, जउन हमके मारे हबै उनखर नियाव करै के तै कब तक ओरगत रइहे? अउ भुंइ के रहै बालेन लग हमर खून के बदला कब तक न लइहे?”