मुकाशफ़ा 5:9 - इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) उर्दू - 20199 और वो ये नया गीत गाने लगे, “तू ही इस किताब को लेने, और इसकी मुहरें खोलने के लायक़ है; क्यूँकि तू ने ज़बह होकर अपने ख़ून से हर क़बीले और अहले ज़बान और उम्मत और क़ौम में से ख़ुदा के वास्ते लोगों को ख़रीद लिया। Faic an caibideilउर्दू हमअस्र तरजुमा9 और वो ये नया नग़मा गाने लगे, “तू ही इस किताब को लेने और उस की मुहरें खोलने के लाइक़ है, क्यूंके तूने ज़ब्ह होकर, अपने ख़ून से हर क़बीले, और अहल-ए-ज़बान, हर उम्मत और हर क़ौम से लोगों को ख़ुदा के वास्ते ख़रीद लिया है। Faic an caibideilकिताब-ए मुक़द्दस9 साथ साथ वह एक नया गीत गाने लगे, “तू तूमार को लेकर उस की मुहरों को खोलने के लायक़ है। क्योंकि तुझे ज़बह किया गया, और अपने ख़ून से तूने लोगों को हर क़बीले, हर अहले-ज़बान, हर मिल्लत और हर क़ौम से अल्लाह के लिए ख़रीद लिया है। Faic an caibideil |