यरमियाह 51:54 - इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) उर्दू - 201954 बाबुल से रोने की और कसदियों की सरज़मीन से बड़ी हलाकत की आवाज़ आती है। Faic an caibideilकिताब-ए मुक़द्दस54 “सुनो! बाबल में चीख़ें बुलंद हो रही हैं, मुल्के-बाबल धड़ाम से गिर पड़ा है। Faic an caibideil |