दिब्य दरस 14:8 - गढवली नयो नियम8 फिर यांका बाद उख एक और स्वर्गदूत छो जु पैला स्वर्गदूत का पिछनै ऐ अर बोलि, “लमडी गै, उ बड़ो बाबेल लमडी गै, वेल सैरी मनिख जाति तैं अपड़ी दाखमधु का नशा ल धुत कैरेले, वेको भौत ही बुरो बरतौ यु च जु वेल सैरी धरती अर मनिख जाति तैं सिखै किलैकि वेल ऊं तैं मूर्तियों की पूजा कन सिखै।” Faic an caibideilGarhwali8 अर पैला स्वर्गदूत का बाद एक-दुसरो स्वर्गदूत उड्द दिखै अर वेन इन बोलि कि, “पतन ह्वे गै, पतन ह्वे गै, बड़ा नगर बेबीलोन को पतन ह्वे गै, सब देसों का लोगु न वींका गळत सम्बन्ध बणौण वळी दारु पीयाली, ताकि सब लोगु तैं वीं की लत लगि जौ, अर वींका दगड़ा मा सरील का गळत सम्बन्ध बणौण का कामों तैं पूरु कैरा।” Faic an caibideil |
बाबेल को बड़ो शहर तीन हिस्सों मा बंटे गै, अर पूरी दुनिया का सैरा शहर नष्ट हवे गैनी। किलैकि पिता परमेश्वर ल उ पूरो कैरी जैको वेल बाबेल की जातियों का दण्ड का बारा मा वादा कैरी छो। यूं तैं पिता परमेश्वर की तरपां बट्टी कठोर दण्ड दिए जालो। यु इन होलो जन ऊंल बगैर पांणी मिल्युं दाखमधु तैं पियेले हो, जै तैं पिता परमेश्वर ल अफ ही वे प्याला मा उण्डेली हो जु वेका गुस्सा तैं बतांद।