2 तीमुथियुस 4:16 - Garhwali16-17 अर जब पैलि दौं रोम देस मा मेरु न्याय करण खुणि मितैं कचैरी मा खड़ु किये गै छौ, त मितैं बचौणु खुणि कैन भि गवै नि देई, किलैकि सब लोग मितैं छोड़ के चलि गै छा। मगर फिर भि मेरु प्रभु मेरा दगड़ा मा छौ अर वेन मितैं ताकत देई, ताकि मि शुभ समाचार का परचार तैं पूरु कैर सैकु, अर जु लोग यहूदी जाति का नि छिन ऊं सभ्यों तैं शुभ समाचार सुणो। अर परमेस्वर न मितैं मौत का गिच्चा बटि बचै, अर मि इन प्रार्थना करदु कि जु लोग मितैं छोड़ि के चलि गै छा, परमेस्वर ऊंतैं माफ कैरो। Faic an caibideilगढवली नयो नियम16 रोम शहर का न्यायलय मा मेरी पैली पेशी कि बात-चित का बगत मा, कैल भि मेरू दगड़ी नि कैरी बल्कि सभियूं ल मि तैं छोड़ेलि छो, मि प्रार्थना करदु कि पिता परमेश्वर ऊं तैं मि तैं छोड़णु कु माफ कैरी द्यो। Faic an caibideil |
देखा, परमेस्वर की मनसा का मुताबिक जु दुख तुमतै ह्वे वां से तुमरा भितर इथगा इच्छा पैदा ह्वे, कि तुमुन खुद पर लग्यां कलंक तैं दूर करण की हिम्मत दिखै। अर अपणी गळती पर तुम सरमसार होयां, अर तुमरा भितर परमेस्वर की डौऽर पैदा ह्वे, अर यां की वजै से जु जबरदस्त इच्छा अर जोस तुमरा भितर पैदा ह्वे, वेकी वजै से तुमुन अपणी गळती सुधारी अर इन साबित कैरी कि तुम ये मामला मा बेदाग छाँ।