16 तू नइ तो ठंडो ह अर नइ गरम पण तू न्युनिवायो ह, इ ताँई म तनै मेरा मुंडाऊँ थूकबाळो हूँ।
इ ताँई चेता म आ अर आ सोच क तू कठैऊँ गिर्यो, तू तौबा कर अर पेल्या की जंय्यां काम कर, अर ज तू अंय्यां कोनी करसी जणा म तेरै कनै आर तेरा दिपदानानै बि झघाऊँ हटा देस्युँ।
म तेरा कामानै जाणू हूँ, अर ओ बी जाणू हूँ क तू नइ तो सीळो अर नइ गरम। म चाऊँ हूँ क, तू आमैऊँ एक तो होतो।
तू बोलै ह, ‘म पिसाळो हूँ, म धन जोड़ लिओ हूँ मनै ख्याकीई कमी कोनी।’ पण तनै कोनी बेरो क तू नीच, बिचारो, कंगलो, आँदो अर नंगो ह।