16 यद्याँ वो ने हुणे, तो एक कन दो जणा ने आपणाँ हाते ओरी लेजा, ताँके हरेक बात दो कन तीन गवा का मुण्डाऊँ गवई दिदी जावे।
अन जस्यान थाँका नेमा में भी लिक्यो हे के, ‘यद्याँ दो जणा एक जस्यी गवई देवे, तो वाँ हाँची हे।’
ओ तीजो मोको हे जद्याँ मूँ थाँका नके आरियो हूँ। “ईं हारी बाताँ को फेसलो दो कन तीन गवा की गवई का केड़ेईस वेणो छावे।”
कणी भी मोतबीर मनक के खिलाप दो कन वणीऊँ हेला गवा का बना वींपे लगाया ग्या दोस मती हूणज्यो।
जद्याँ कुई मूसा का नेमाने मानबाऊँ नटे हे, तो वींके ऊपरे दया कोनी करी जावे अन दो कन तीन गवा की गवई देबा की वजेऊँ मार दिदो जावे हे।
मूँ दो गवा ने अदिकार देऊँ वीं एक हजार दोस्ये हाठ दनाँ तईं परमेसर की बाताँ बताई। वीं बोरियाँ का गाबा पेरिया तका वेई, जीं दक ने बतावे हे।”