27 तद्याँ ईसू तरत वाँकाऊँ क्यो, “हिम्मत राको! मूँ हूँ, दरपो मती!”
पतरस वाँने क्यो, “ओ परबू यद्याँ थूँ हे, तो मने आपणाँ नके पाणी पे चाळन आबा को हुकम दे।”
ईसू वाँका नके आन वाँके हात अड़ायो अन क्यो, “ऊबा वो, दरपो मत।”
तद्याँ ईसू वाँने क्यो, “दरपो मती। मारा भायाँ ने जान केवो के, वीं गलील परा जावे, वीं मने वटेईस देकी।”
तद्याँ हरग-दुत वणा लुगायाऊँ क्यो, “दरपो मती, मूँ जाणूँ हूँ के, थाँ ईसू ने ज्यो हूळी पे चड़ायो ग्यो हो वींने होदो हो।
लोग-बाग एक माँदा ने माचा पे हुवाण वाँके नके लाया, ईसू वाँका विस्वास ने देकन वणी लकवा का माँदा मनकऊँ क्यो, “बाळक हिम्मत राक, थाँरा पाप माप वेग्या हे।”
काँके वाँ हंगळा जणा वींने देकन दरपग्या हा, तो जट ईसू वाँने बतळान क्यो, “हिम्मत राको, दरपो मती, यो तो मूँ हूँ।”
पण, हरग-दुत वींने क्यो, “जकरय्या दरपे मती। काँके, थारी परातना परमेसर हूँण लिदी हे। ईं वाते थाँरी घरवाळी एलीसिबा एक बेटा ने जणी। वींको नाम यहुन्नो राकज्ये।
तद्याँ हरग-दुत वींने क्यो, “मरियम दरपे मती, परबू परमेसर की दया थाँरा पे हे।
“ओ नाना गारा, दरपो मती। काँके थाँरा बापू ने यो हव लागो हे के, थाँने राज देवे।
तद्याँ हरग-दुत वाँकाऊँ क्यो, “दरपो मती अन देको। मूँ थाँका वाते हव हमच्यार लायो हूँ, जणीऊँ हारी मनक जात घणी राजी वे जाई।
वणीस तरियाँ जब्दी का बेटा याकूब अन यहुन्ना ने भी, जी समोन का हण्डाळ्याँ हा, अचम्बो व्यो। जद्याँ ईसू समोनऊँ क्यो, “दरपे मती। अबे थूँ परमेसर का राज में मनकाँ ने लाबावाळो बणी।”
में थाकाँऊँ ईं बाताँ ईं वाते किदी के, थाँने माराऊँ सान्ती मले, दनियाँ में तो थाँने दुक मल्यो हे पण हिम्मत राको, में दनियाँ ने जीत लिदी हे।”
पण ईसू वाँने क्यो, “यो तो मूँ हूँ, दरपो मती।”
वीं रात में परबू पोलुस के नके ऊबा रेन क्यो, “हे पोलुस, हिम्मत राक, काँके जस्यान थें यरूसलेम में मारी गवई दिदी, वस्यानीस थने रोम में भी गवई देणी हे।”