चेला ने गरू का बराबर वेवा में अन हाळी ने मालिक का बराबर वेवा मेंईस संतोक करणो छावे। यद्याँ वीं घर का मालिक ने बालजेबूल केवे, तो वाँका घर का लोगाँ ने ओरी हेलो बुरो काँ ने केई?
ईंपे यहूदी नेता वाँने क्यो, “अबे माँने पको विस्वास वेग्यो हे के, थाँरा में हुगली आत्मा धस्यी तकी हे। अबराम अन परमेसर का आड़ीऊँ बोलबावाळा तो मरग्या, पण थूँ केवे हे के, ‘यद्याँ कुई मारी हिक ने मानी, तो वो कदी ने मरी।’
पण मूँ आपणी देह ने घणी मेनत करान खुद का क्या में राकूँ हूँ, ताँके कटे अस्यान ने वे जावे के, दूजाँ का उपदेस देयाँ केड़े मूँ परमेसर का आड़ीऊँ बेकार मान्यो जाऊँ।