ईसू क्यो, “खुराजीन अन बेतसेदा नगर का लोगाँ, थाँने धिकार हे, काँके जीं परच्या बताया ग्या, यद्याँ वीं सूर अन सेदा नगर में किदा जाता, तो वटे का मनक बोरी का गाबा पेरन अन आपणाँ सरीर पे वानी लगान कदी का पापऊँ मन फेर लेता।
आपणाँ आत्मिक मुक्या को भरोसो करो अन वाँके बंस में रो। वीं परमेसर का हामें थाँको लेको देबावाळा का जस्यान वीं जागता तका थाँके जीव की रुकाळी करे हे। अन यद्याँ वस्यानीस करो, तो वीं यो काम राजी वेन करी, पण थाँ वस्यान ने करो, तो वीं यो काम दकऊँ करी। अन अणीऊँ थाँको कई नफो ने वेई।