42 जद्याँ ईसू बारा वर का व्या तद्याँ तेवार की रीत की तरियाँ वीं यरूसलेम ग्या।
वींका बई-बापू हर साल फसे का तेवार पे यरूसलेम जाता हा।
अन जद्याँ तेवार का दन वीत ग्या। तद्याँ वी पाच्छा आबा लागा। पण, बाळक ईसू यरूसलेम मेंईस रेग्यो हो। ईंको वींका बई-बापू ने पतो ने हो।
ईसू नासरत नगर में ग्यो, जटे वाँको लालण-पालण व्यो हो। वो रीत के जस्यान आराम का दन में परातना घर में ग्यो अन धरमसास्तर भणबा का वाते ऊबो व्यो।
जद्याँ वो गलील में आयो, तो गलील का लोग-बाग वींकी आवभगत किदी। काँके वणा वींका कामाँ ने देक्याँ हा, जद्याँ वणा यरूसलेम में फसे के तेवार पे किदा हा। काँके वीं दाण ईं मनक भी वटे तेवार में ग्या तका हा।