ईसू वाँकाऊँ क्यो, “ब्याव के टेम में जद्याँ तईं बींद आपणाँ जान्या का हाते हे तो कई वींका जान्या रोवणो-धोवणो करी? पण वीं दन जद्याँ बींदराजा ने वाँकाऊँ छेटी किदो जई, वीं टेम वीं एकाणो राकी।
देक, थारो आरादना घर थाँरा वाते उजाड़ पड़्यो हे। मूँ थाँराऊँ केवूँ हूँ के, थूँ मने वणी टेम तईं पाछो ने देक सकी जद्याँ तईं यो टेम ने आजा वे के थूँ केवे, ‘परबू का नामऊँ आबावाळा राजा ने परमेसर आसिरवाद दे।’ ”