तद्याँ रोमी सेनापती अन ज्यो वींका हाते ईसू के पेरो देरियो हाँ, भूकम अन ज्यो कई व्यो हो, वींने देकन घणा दरपग्या अन क्यो, “हाँचई में ओ परमेसर को पूत हो।”
मूँ अबे जीवतो कोयने हूँ, पण मूँ ईसू मसी में जीवतो हूँ अन मूँ अणी देह में जीवतो हूँ तो बेस ईसू पे विस्वास करबा का मस जीवतो हूँ, ज्यो परमेसर को बेटो हो अन वणी माराऊँ अतरो परेम किदो के, आपणाँ खुद ने मारा वाते दे दिदो।
पेल्याँ आपाँ हारई भी वाँके जस्यान आपणाँ डील की हुगली मनसा के जस्यान दन बिताता हा, डील अन मन की मरजी पुरी करता हा अन दूजाँ लोगाँ के जस्यान परमेसर का दण्ड के जोगा हा।