हो बापू, मारी या अरज हे के, वीं हाराई एक वेवे, जस्यान मूँ थाँकामें हूँ अन थाँ मारा में हो, वस्यानीस वीं भी आपाँ में एक वेवे, जणीऊँ दनियाँ विस्वास करे के, थाँ मने खन्दायो हे।
पण जिंने हमेस्यान बण्या रेबावाळा परमेसर की आग्याऊँ परमेसर की आड़ीऊँ बोलबावाळा का लेकाँ का जरिये ज्यो यहूदी ने हे, वाँ हाराई मनकाँ में परगट करन बता दिदो ग्यो हे जणीऊँ वीं विस्वास करन आग्या माने।
वाँकाणी किंनेई तो थरप्या तका वेबा का वाते, अन किंनेई परमेसर का आड़ीऊँ बोलबावाळा, किंनेई तो हव हमच्यार हुणाबावाळा, अन किंनेई तो परमेसर का मनकाँ का गवाळ अन किंनेई हिकाबावाळा बणाया।