तद्याँ थाँ राजी वेज्यो अन आणन्द मनाज्यो, काँके हरग में थाँने ईंको फळ मली। यो वस्यानीस हे जस्यान थाँकाऊँ पेल्याँ परमेसर का आड़ीऊँ बोलबावाळा लोगाँ ने हताया हा।
ईं वाते हो विस्वासी भायाँ विस्वास में बना आगा-पाछा व्या गाटा बण्या तका रेवो अन परबू को काम करबा वाते खुद ने त्यार राको, काँके थाँ तो जाणो हो के, परबू वाते किदो ग्यो काम बेकार ने वे जावे।
पण परमेसर का घराणा में मसी तो एक बेटा का रूप में विस्वास करबा के जोगो हे, अन यद्याँ आपाँ हिम्मत राका अन वीं आस पे विस्वास बण्यो तको राका हा, तो आपींइस वींको घराणो हा।