3 अन यद्याँ मूँ मारी हारी धन-दोलत गरीबा ने बाँट दूँ, अन मूँ हव-हमच्यार हुणाबा का वाते मारी देह ने बाळन बली दी दूँ अन पच्छे भी परेम ने करूँ तो मने कई नफो ने हे।
“वीं आपणाँ हाराई काम लोगाँ ने बतावा का वाते करे हे। वीं हात अन माता पे बांदबा वाळा आपणाँ ताबीजा ने जिंमें वीं सास्तर ने लिकता हा, वाँने मोटा करे हे अन आपणी जोळ्या ने वदावे हे। ताँके मनक वाँने धरमी हमजे।
ओ हूँणन ईसू वींने क्यो, “थाँरा में अबे भी एक कमी हे। आपणी हारी धन-दोलत ने गरीबा में बाँट दे अन पाछो आने मारे पाच्छे चाल थने हरग में धन-दोलत को खजानो मली।”
जक्कई ऊबो वेन परबूऊँ क्यो, “ओ परबू जी, देको, मूँ मारी कमई को आदो हिस्सो गरीब-अनाता ने देवूँ हूँ अन यद्याँ किंको भी मन दुकान लिदो हे, तो वींने च्यार-गुणो पाछो दी देवूँ।”
अलग अलग तरियाँ का अणजाणी हिकऊँ भटको मती, काँके थाँका मन का वाते यो हव के, वो खाबा-पिबा की नेमा का बजाए दयाऊँ मजबूत बणे। अन जणा खाबा-पिबा का नेमाने मान्याँ वणाऊँ वाँको कदी भलो कोनी व्यो।