14 जिसुं म चाऊ छु क वे जुवान बिधवा बियाऊ करले अर छोरा-छोर्या न्अ पाळता होया खुदका घर की सार सम्भाळ करअ जिसुं आपणा बेरया न्अ आपण्अ उपरअ दोष लगाबा को मोको कोन मल्अ।
जिसुं आपा आमा-सामा दोष लगाबो बन्द करां। अर ई बात की बज्याई इम्अ पक्का होवां क दूसरा भाया न्अ पाप मं पड़बा बेई कोन उकसाव्अला।
ई बजेसुं ज्यो कांई बी म अबार करू छु उन्अ तो करतो रेऊलो, जिसुं वा थांकी ओड़ी सुं थरपेड़ा न्अ वांका काम प घमण्ड करबा को मोको कोन मल्अ अर वे या कोन खे सक्अ क आपणी जस्यानई वे बी काम करअ छ।
जिसुं म्हारी मन्सा छ क हरेक ठार सबळा मनख पवितर हाथा न्अ जोड़र बना रोष अर रयाड़ कर्या परातना करअ।
वे बियाऊ बेई नट्अला। एकात चीजा खाबा बेई नट्अला ज्यांन्अ परमेसर का बस्वासी अर सांच न्अ पेचाणबाळा धन्यवाद देर खाबा बेई बणाया छ।
पण जुवान रांडबेरा को नांऊ इम्अ मत माण्ढज्यो क्युं क मसी बेई वांका समर्पण प जद्या वांकी काया की मन्सा जोरा हो जाव्अ छ तो वे फेरू बियाऊ करबो छाव्अ छ।
जतरा दास छ वे खुदका मालिक न्अ घणा आदरहाळा समझणी चायजे जिसुं परमेसर का नांऊ अर म्हाका परबचना की बराई कोन होव्अ।
जिसुं वे संयमी, पवितर, अपणा-अपणा घरा की सम्भाळ करबाळी, दीयालु अर खुदका घरका धणी की आज्ञा मानबाळी बण्अ। जिसुं परमेसर का बचन की बराई कोन्अ होव्अ।
अस्यान की सदवाणी काम मं लेवो जिकी बराई कोन्अ करी जा सक्अ जिसुं थारा बिरोध्या न्अ लाज आव्अ क्युं क वां कन्अ थारा बिरोध मं बोलबा बेई कांई बी कोन्अ होव्अलो।
बियाव को सब आदरमान करो। अर लोग-लुगाई आमा-सामा ईमानदार रेव्अ। क्युं क परमेसर नाजायज रिस्तो रांखबाळा अर व्यभिचार करबाळा को न्याऊ करअलो।