11 एक बेरबानी न्अ चायजे क वा ठण्डा सुभाऊ सुं पुरा खिया मं रेर सक्ष्या लेव्अ।
अर म चाऊ छु क थे या जाणल्यो क लुगाई को माथो उंको मोट्यार छ, अर मोट्यार को माथो ईसु मसी छ, अर ईसु मसी को माथो परमेसर छ।
ओ लुगायाओ, खुदका घरहाळा का खिया मं रेवो। जस्यान परबु का लोगा बेई चोखो लाग्अ छ।
पण अस्यान की बेरबान्या न्अ ज्यो खुदन्अ परमेसर की सेवा करबाळी मान्अ छ वांक बेई सई या छ क वे भला कामा सुं खुदन्अ सजाव्अ।
जिसुं वे संयमी, पवितर, अपणा-अपणा घरा की सम्भाळ करबाळी, दीयालु अर खुदका घरका धणी की आज्ञा मानबाळी बण्अ। जिसुं परमेसर का बचन की बराई कोन्अ होव्अ।
ह लुगायांओ, थे बी खूदका मोट्यारां को खियो मानो। जिसुं क याम्अ सुं कोई अस्यान का होव्अ ज्यो बचन कोन्अ मान्अ, तोबी थांका भय की लार पवितर चाल-चलण सुं, बना बचन ही खुदकी लुगायां का चाल-चलण सुं खची आजाव्अ।