जस्यान खियो गियो छ क, “आपा सब कुछ करबा बेई आजाद छा।” पण सब कुछ भलाई बेई तो कोन। आपा सब कुछ करबा बेई आजाद तो छा पण सबळी बाता सुं बस्वास मजबूत कोन होव्अ।
थाप्अ बी ये बाता लाग्अ छ क्युं क थे आत्मा का बरदान पाबा बेई उत्यावळा छो, थे या जोरी करब्अ करो क थांका आत्मिक बरदाना सुं बस्वास्या की टोळी की बढ़ोतरी होव्अ।
अर म या चाऊ छु क थे न्यारी-न्यारी बोल्या म बाता करो पण इसुं बी साउटो म या चाऊ छु क थे परमेसर की ओड़ी सुं बोलो; क्युं क बस्वास्या की टोळी की मजबुती बेई न्यारी-न्यारी बोल्या को मतबल समझाबाळा सुं परमेसर की ओड़ी सुं बोलबाळो बड़ो छ।
बीका खिया मं सबळा साअरो देबाळा जोड़ा सुं काया का सबळा अंगा न्अ जोड़या जावे, अर एक हो जाव्अ छ। ई बजेसुं जद सबळा अंग अपणो-अपणो काम करअ तो पूरी काया बड़े छ अर बा परेम मं खुद तगड़ी होवे छ।
थांका मुण्ढा सुं कोई बी नुकसाण की बात न्अ नखळणी चायजे, पण मनखा को होसलो बड़ाबा क ताणी जड़े जुरत होवे बड़े चोखी बात नखळणी चायजे, जिसुं ज्यो सुण्अ बांको भलो होव्अ।
बणायेड़ा कस्सा अर आग्लाबड़ा की लाम्बी लेण मं लड़ाई-झगड़ा न्अ बढ़ावो देव्अ छ वाप्अ चत मत लगाओ। ये बाता परमेसर की उं जुगत न्अ सिद्ध कोन होबा देव्अ, ज्यो बस बस्वास पई टक मेली छ।