10 थें म्हाका गुवा छो, अर अस्यान'ई परमेसर बी गुवा छ क थां बस्वास्या बेई म्हाको बेवार कतरो खरो, चोखो अर बना दोषहाळो छो।
पण आपणी सज्या तो न्याई की छ क्युं क आपा ज्योबी कर्या छा बीक्अ बेई तो ज्यो मलणी चायजे छी, बाई मलरी छ। पण यो मनख तो कांई बी बरो कोन्अ कर्यो!”
बांक्अ आया सुं पौलुस बान्अ खियो, “या थें जाणो छो क एसिया पुच्या पाछ्अ पेल-पेलका दन सुंई हालताणी पूरी बगत मं थांकी लार कस्यान रियो छु
जिसुं म आज थांक्अ साम्अ घोषणा करू छु क अर ज्यो अब बी थें नास होवो छो तो म बीको जुम्मेवार कोन्अ।
जिसुं म बी परमेसर अर मनखा क गाब्अ खुदकी अन्तरात्मा न्अ पवितर रखाण्बा की जोरी करतो रेऊ छु।
म्हान्अ गरव छ क म्हे साफ हीया सुं या खे सका छा, क म्हे ई दुनिया का मनखा की लार अर खास तो थारी लार परमेसर की खराई अर ईमानदारी सुं रिया छा। अस्यान म्हे परमेसर सुं मलबाळी दीया सुं कर्या छा न्अ की दनीयादारी सुं मलबाळी बुद्धि सुं।
अर म्हारा खेबा को यो मतबल थोड़ी छ क म थासुं परेम कोन करू? परमेसर ई बात न्अ जाण्अ छ क म थासुं परेम करू छु।
आपणा परबु ईसु मसी का पिता परमेसर की मेमा सदा-सदा की छ, अर वो जाण्अ छ क म झूंट कोन बोलु।
मै ओल्अ छान्अ करबाळा बेसर्मी का कामा न्अ कोन्अ करां। न्अ तो मै कपट रांखा अर न्अ परमेसर का बचन मं झूंटी बाता मलार बतावा। पण सांच न्अ साम्अ ल्यावा छा। परमेसर क साम्अ मै भलाई की हरेक बात न्अ मनखा का चत मं बठाणा छा।
जिसुं म्हे जाणा छा ईको मतबल परबु को ड़र मानबो छ, अर जिसुंई मै दूसरा न्अ परमेसर ओड़ी फरबा बेई हिम्मत बंधावा छा। परमेसर आपान्अ खुब चोखा जाण्अ छ, अर म आसा करू छु, क थे बी म्हारा बारा म खुब चोखा जाणो छो।
थांका मन मं म्हान्अ ठार द्यो। मै न्अ तो कोई की लार अन्याय कर्या अर न्अ कोईको कांई बगाड़या, अर न्अ'ई मं कोईको फाईदो उठायो।
क्युं क म्हाका चोखा समचार को ब्योरो थां खन्अ बाता मेई कोन पुच्यो पण पवितर-आत्मा की सामर्थ अर गाढ़ी भगती सुं पुच्यो छ। थे जाणो छो क जद्या म्हे थांकी लारा छा, तो थांका फायदा बेई कस्यान की जन्दगी जीव्अ छा।
थे खुब चोखा जाणो छो क म्हे कद्या बी चुपड़ी बाता की लारा थांक्अ साम्अ कोन आया। परमेसर ईको गुवा छ, क म्हाका परबचन कोई लोभ को भायनो कोन्अ छा।
म या जिसुं खेर्यो छु क्युं क थे तो खुदई जाणो छो क थान्अ म्हाक्अ पाछ्अ कस्यान चालणी छ क्युं क थांक्अ गाब्अ रेताहोया मे कद्या बी आळसी कोन रिया।
तु हालताणी जुवान ई छ जिसुं कोई थन्अ तुच्छ कोन समझ्अ। पण तु खुदकी बात-बतळ्यावण, चाल-चलण, परेम, बस्वास अर पवितरता मं बस्वास्या बेई एक उदारण बणजा।
कांई बी होव्अ तु म्हारी सक्ष्या न्अ मान्यो छ। म्हारा जीबा का लखण, जीबा को मतबल, म्हारो बस्वास, म्हारी सेनसीलता, म्हारो परेम, म्हारो धीरज
ज्यो बस्वास लोगबाग की टोळी थान्अ दियेड़ी छ बा माळ्अ अधिकार मत जतावो, पण टोळी बेई एक उदारण बणो।