ख़ुलदा ने उन्हें जवाब दिया, “रब इसराईल का ख़ुदा फ़रमाता है कि जिस आदमी ने तुम्हें भेजा है उसे बता देना, ‘रब फ़रमाता है कि मैं इस शहर और इसके बाशिंदों पर आफ़त नाज़िल करूँगा। वह तमाम लानतें पूरी हो जाएँगी जो बादशाह के हुज़ूर पढ़ी गई किताब में बयान की गई हैं।
“बाबल का बादशाह नबूकदनज़्ज़र हम पर हमला कर रहा है। शायद जिस तरह रब ने माज़ी में कई बार किया इस दफ़ा भी हमारी मदद करके नबूकदनज़्ज़र को मोजिज़ाना तौर पर यरूशलम को छोड़ने पर मजबूर करे। रब से इसके बारे में दरियाफ़्त करें।” तब रब का कलाम यरमियाह पर नाज़िल हुआ,
रब जो इसराईल का ख़ुदा है फ़रमाता है, ‘बेशक शहर से निकलकर बाबल की मुहासरा करनेवाली फ़ौज और उसके बादशाह से लड़ो। लेकिन मैं तुम्हें पीछे धकेलकर शहर में पनाह लेने पर मजबूर करूँगा। वहाँ उसके बीच में ही तुम अपने हथियारों समेत जमा हो जाओगे।
सिदक़ियाह ने यह कहकर उसे गिरिफ़्तार किया था, “तू क्यों इस क़िस्म की पेशगोई सुनाता है? तू कहता है, ‘रब फ़रमाता है कि मैं इस शहर को शाहे-बाबल के हाथ में देनेवाला हूँ। जब वह उस पर क़ब्ज़ा करेगा