13 पण परमेश्वरै अक नवाँ असमांण जां धरती बंणाणैरा वायदा क्यौरा; जेठि सिर्फ धर्मी मैहणु भूंणै जां जेठणीरी असै उम्मीद कातै रींहथै।
सृष्टी तैस धियाड़िरा इन्तजार काति आ, जेख्णी तैस मोउती जां विनाश किना छुड़खी करि परमेश्वरेरी संतानियां सिंउ महिमा मझ आजादी सिंउ शामिल भौ गांहणु।
तेनिऐ शक्तिशाली सामर्थी ला, असु सिंउ बधिया-बधिया जां अनमोल कीमति वरदान दींणैरा वायदा क्यौरा; ताकि ऐन्हैं वरदाने ला, तुवे संसारेरी बुरी ईच्छाईया किना बचि सकिया, जै मैहणुवां केरा नाश करि दींति। जां तुहां मझ परमेश्वरैरा स्वभाव भौ गहिया।
फिरी मीं अक नऊं असमांण जां नवीं धरती लधि, केईनी कि पुराणुं असमांण जां धरती समुद्रा समैत गायब भौ गियु।
पण कोई बि अशुद्ध चीज तैस शहरा मझ न ऐईंणी। कोई बि शर्मनाक कंम कांनार या झूठ बोलणार तैस शहरा मझ न अईछी सकता। तैड़ि सिर्फ सैहै अईछी सकतै, जैन्हां केरै नाँईयें मेम्नेरी जीवन बाई किताबि मझ लिखोरै भुवै। ऐस किताबि मझ तैन्हांं मैहणुवां केरै नाँ अत्तै, जैन्हां किनि अनन्त जीवन आ।