8 असु पता कि अगर मैहणु व्यवस्थाय ठीक ढ़गै सिंउ इस्तेमाल कातै ता सै अच्छै अत्तै।
जां इस संसारैरा मैहणुवां सैयि मेईं बणा; पण तुवाड़ै सोचणैरा तरीका परमेश्वर बदली दिया, ताकि तुवाड़ा चाल-चलन बि बदलता गहिया; जेनि ला तुवे परमेश्वरेरी भली, अच्छी जां सिद्ध ईच्छा जांणनेरी कोशिश कातै रिय्हा।
जां अगर जै आंउ ना चांहथा, तैन्हांं बुरा कंमा काता, तां आंउ मनि लींता कि व्यवस्था अच्छी आ।
केईनी कि मूं पता, कि मूं मझ मतलब मिंडै पाप रूपी स्वभावा मझ कोई अच्छी चीज वास ना काति। भलै कंम कांनेरी ईच्छा ता मूं मझ आ, पण मिंडै बोलै सैक्यै भूंतै ना।
केईनी कि आंउ अपड़ै पूरै मंन सिंउ परमेश्वरेरी व्यवस्थाय ला खुश भूंता।
क्या ऐठणीरा मतलब ऐ आ, कि व्यवस्था परमेश्वरेरै वायदै केरै खिलाफ आ? बिल्कुल ना! केईनी कि अगर कोई ऐतेई व्यवस्था दितोरी भूंती भुईं, जै जीवन दी सकींथी, ता व्यवस्था मनणै ला मैहणु धर्मी घोषित भूंणा थ्या।
ऐनि तरीकै जेख्णी कोई खिलाड़ी कोसक्यै खेल-कूदा मझ मुकाबला काता, ता सै त्यो-तेईनी ना जितता, ज्यो-तेईनी सै नियम सिंउ मुकाबला ना काता।