“देखौ, जि मेरौ दास है जाकूं मैने चुनों है, जि मेरौ प्यारौए, जाते मेरौ मन भौत खुस है। मैं अपनी आतमा बापै डारूंगौ, बू देस देस के लोगन कौ ईमानदारी ते न्याय करैगो।
चौंकि जब हम बैरी हते, बानें अपनी मौत के द्वारा परमेस्वर ते हमारौ मेल-मिलाप करायौ तौ अब जब हमारौ मेल-मिलाप है चुकौ है, तौ वाके जीबन के द्वारा पक्कौई हमारौ उद्धार होगौ।
जि जा बजे ते भयौ कै तुमारौ परखौ भयौ भरोसौ आग ते ताये भये नासबान सौने तेउ जादा कीमतीऐ। ईसू मसीह के पिरकट हैबे बारे दिन में तुम लोगन कूं आदर महिमा और बड़ाई मिलैगी।
भरोसौ करबे बारे तुम लोगन काजै बू पत्थर भौत कीमतीऐ। पर जो भरोसौ नां करें बिनके काजै सास्त्र में लिखौ भयौ है, “राज मिस्त्री ने जा पत्थर कूं बेकार ठहरायौ बुई कौने कौ पत्थर ठहरौ।”
जि चिठ्ठी ईसू मसीह के भेजे भये चेला मुझ, सिमौन पतरस की ओर ते बिन लोगन काजैंऐ, जिनें हमारे परमेस्वर और हमारे उद्धारकरता मसीह ईसू की धारमिकता के द्वारा हमारौ सौ भौत कीमती भरोसौ पायौए।
और बाई महिमा के पिरताप ते बानें अपनी भौत कीमती बाचा पूरी करीऐ, जाते हम खुद बा परमेस्वर के सुभाव में साझी है जांय और जा जगत के लोगन की बुरी इच्छा की बजैह ते हैबे बारे नांस ते बच जांय।