फिलिप्पियन 1:15 - Bagheli Bible15 अउर कुछ मनई त हमसे डाह अउर दुसमनी के कारन मसीह के प्रचार करत हें, अउर कुछ जने निकहे मन से मसीह के प्रचार करत हें। Faic an caibideil |
पय हम पंचे त क्रूस माहीं चढ़ाए मसीह के प्रचार करित हएन, अउर यहूदी लोग इआ बिसुआस नहीं करँय, कि मसीह मनइन के पापन के माफी के खातिर क्रूस माहीं मरे हें, एसे ऊँ पंचे इआ खुसी के खबर काहीं सुनिके क्रोधित होइ जात हें, अउर गैरयहूदी लोग, इआ बात काहीं मूर्खता समझत हें, कि मसीह मनइन के पापन के माफी के खातिर क्रूस माहीं मरे हें।
काहेकि हमहीं इआ बात के डेर हय, कि कहँव अइसा न होय, कि जब हम तोंहरे लघे अई, त जइसन तोंहईं पंचन काहीं हम पामँइ चाहित हएन, त उआमेर न पाई, अउर तुहूँ पंचे घलाय हमहीं जइसन पामँइ चहते हया, त उआमेर न पाबा। अउर हम इआ नहीं चाही, कि तोंहरे बीच माहीं, लड़ाई-झगड़ा होय, डाह होय, क्रोध होय, बिरोध होय, जलन होय, चुगली करब होय, घमन्ड होय, कउनव बात के बखेड़ा होय।
हम पंचे जउन भक्ती करित हएन, ओखर रहस्य खुब महान हय, एमाहीं कउनव सन्देह नहिं आय, उआ भेद इआमेर से हय, मसीह मनई के देंह लइके जनम लिहिन, अउर पबित्र आत्मा उनहीं धरमी ठहराइन, अउर ऊँ स्वरगदूतन काहीं देखाई दिहिन, अउर सगले जातिअन माहीं उनखे बारे माहीं प्रचार कीन ग, अउर संसार के सगले मनई उनखे ऊपर बिसुआस किहिन, अउर परमातिमा बड़े आदर के साथ उनहीं स्वरग माहीं जिन्दय ऊपर उठाय लिहिन।