हे भईयौ और बहनौ, खुस रौह। अब मैं तुमसै बिदा चाँहौ हौं, अपनो चाल-चलन सई रक्खौ, और बैसोई करिओ जैसो मैंनै कैई है, एकई सोच रक्खौ और सान्ति सै रैहऔ, पियार और सान्ति को परमेसर तुमरे संग रैह।
हे भईयौ, जो बात सच हैं, और जो बात इज्जत बारी हैं, और जो सई हैं, और जो बात पबित्तर हैं, और जो बात पियारी हैं, और जो बात मन कै पियारी लगै हैं, यानी जो बी भौत अच्छी और बड़ाई की बात हैं, उनई मै मन लगाए करौ।
इसताँई भईयौ और बहनौ, हम तुमसै परभु ईसु के नाम सै जौ बिनती करै है कै परमेसर कै खुस कन्नै के ताँई कैसी जिन्दगी जीनी चँईऐ, बाके बारे मै हमनै तुमकै सिकार खाओ है। तुम बैसेई जिऔ और जादा बढ़कै करौ।