प्रकाशितवाक्य 11:9 - बाघली सराज़ी नऊंअ बधान9 सोभी लोगा, हर खांनदान, हर ज़ाती, हर भाषा का हणैं लोग तिन्नें ल्हासा चिई धैल़ै तैणीं भाल़ै लागै दै और तिन्नें ल्हासा निं दैणअ तिन्नां घोरी दी दाबणै बी। See the chapterकुल्वी9 होर सैभी ज़ाति, कुल होर भाषै रै लोका साढ़ै त्रा रोज़ा तैंईंयैं तिन्हरी लाश हेरदै रौहणा पर कौसियै भी तिन्हरी लाश कब्रा न नी रखणै देणी। See the chapterईनर सराजी मे नया नियम9 सभी कुला रे होर लोका होर भाषा होर सभी जातियो रे लोका त्याह सभी लाशा बे साढे चीई धयाडी तक हेरदे रहणे। होर त्याह लाशा कबरा में डाहणे नांई दीणा। See the chapter |